बालोद के किसान की जीवंत रंगोली ने हैदराबाद में दर्शकों को किया मंत्रमुग्ध

हैदराबाद के आर्ट फेस्टिवल में अंतरराष्ट्रीय ख्याति प्राप्त रंगोली कलाकार प्रमोद साहू ने छत्तीसगढ़ के बालोद जिले के किसान मुटुक राम देहारी (65) की हूबहू जीवंत रंगोली बनाई, जिसे देखकर दर्शक हैरान रह गए।
प्रमोद की इस अद्भुत कला में बुजुर्ग के हाथों में डांग पकड़े भाव, चेहरे की झुर्रियां और सिर से चेहरे तक फैला बंदन का रंग इतनी बारीकी से उकेरा गया कि दूर से यह रंगोली देखकर पहचानना मुश्किल था कि यह रंगोली है या पोस्टर।
रायपुर निवासी प्रमोद साहू, घुमका मातर उत्सव में लगभग दो घंटे तक 150 से अधिक तस्वीरें लेने के बाद इस किसान के सादगी भरे स्वरूप और मेहनत की झलक को अपने कैमरे में कैद कर हाइपर रियलिस्टिक शैली में रंगोली के रूप में प्रस्तुत कर चुके हैं। उन्होंने इस रंगोली का नाम “डांग” रखा।
हैदराबाद के स्टेट गैलरी ऑफ आर्ट में आयोजित माजदा आर्ट फेस्टिवल में देशभर के लगभग 300 कलाकार शामिल हुए, जिनमें केवल 5 अंतरराष्ट्रीय कलाकारों को विशेष अतिथि के रूप में आमंत्रित किया गया। छत्तीसगढ़ से प्रमोद साहू के साथ प्रसिद्ध कलाकार विजय विश्वास, अमित कपूर, सदा शिव सावंत और प्रफुल सावंत भी मौजूद थे।
प्रमोद साहू की कलाकृतियां देश और विदेश में प्रदर्शित हो चुकी हैं, जिनमें भगवान राम, प्रेमानंद महाराज, बस्तर की आदिवासी युवती और बच्चों के टप में नहाने जैसे दृश्य शामिल हैं। उनके सोशल मीडिया पर हजारों प्रशंसक हर नई रचना का बेसब्री से इंतजार करते हैं।
प्रमोद कहते हैं, “हर रंगोली में मुझे उस व्यक्ति का भाव खुद महसूस करना पड़ता है। यदि कोई मुस्कुरा रहा है, तो मुझे भी वही मुस्कान जीनी होती है। यही कारण है कि मेरी कला में वास्तविकता झलकती है।”



