आदिवासियों को अपनी बात कहने पर मार दी जाती है सीने में गोली – भोजलाल नेताम
रायपुर: आदिवासी भारत महासभा ने दो फरवरी को रायपुर में राज्य और केंद्र सरकार के खिलाफ बड़ा आंदोलन खड़ा करने का ऐलान किया है, जिसके लिए दो फरवरी से चार फरवरी तक आदिवासी महासभा का अखिल भारतीय सम्मेलन आयाजित किया गया है, जिसमें महाराष्ट्र, राजस्थान, पंजाब सहित 15 राज्यों के 300 प्रतिनिधी भाग ले रहे हैं, अपनी तैयारियों को लेकर महासभा ने रायपुर में एक प्रेस कांफ्रेंस की जिसमें सरकार के खिलाफ जमकर आरोप लगाए, उन्होने कहा कि ये सरकार न सिर्फ आदिवासियों की जमीन हथियाना चाहती है बल्कि उन्हें पूरी तरह से नष्ट कर देना चाहती है, जबकि भारत की आबादी में आदिवासियों या अनुसूचित जनजाति के अंतर्गत आने वाली जनता की आबादी में करीब साढ़े बारह करोड़ है, लेकिन बावजदू इसके दलित या अनुसूचित जाति के साथ-साथ ये समाज सबसे ज्यादा उत्पीड़न का शिकार है, पूरे देश में विकास का ढिंढौरा पीटकर आदिवासियों की जमीनें छीनी जा रही हैं, पावर प्लांट, बुलेट ट्रेन जैसे प्रोजेक्ट के जरिए आदिवासियों को पूरी तरह से नष्ट करने की प्लानिंग केंद्र और राज्य सरकारें मिलकर कर रही हैं जिसके लिए वे पूरे देश के आदिवासियों को एक मंच पर लाने की कोशिश कर रहे हैं, जिससे इन ताकतों से मुकाबला किया जा सके ।
माओवादी बताकर मार देते हैं गोली – नेताम
छत्तीसगढ़ आदिवासी भारत महासभा के संयोजक भोजलाल नेताम में राज्य सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि जंगली इलाकों में आदिवासियों की हालत बेहद खराब है, वहां हजारों की तादात में सुरक्षाकर्मियों को बिठा दिया गया है, जो अपने अधिकार के लिए बोलने पर ग्रामीणों को माओवादी बताकर गोली मार देते हैं, ऐसे हालातों में देश के विभिन्न आदिसासी संगठनों के साथ समन्वय कर देशभर में वे अभियान चलाते हुए आदिवासियों की एकता व अस्मिता की रक्षा के लिए संघर्ष करेंगे ।
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