कैपिटल होम्स के Oic सत्येंद्र देवांगन का फर्जीवाड़ा ?, एक दिन पहले प्रबंधक ने कहा था नियुक्ति पत्र नहीं दिया गया, अगले दिन Oic-प्रबंधक के दस्तखत के साथ बैक डेट का नियुक्ति पत्र फोर्थ आई को दिया ?

रायपुर।
राजधानी रायपुर की कैपिटल होम्स आवासीय समिति में प्राधिकृत अधिकारी सत्येंद्र देवांगन की कार्यप्रणाली को लेकर सवाल खड़े हो रहे हैं । और अब प्रबंधक की नियुक्ति को लेकर नया विवाद खड़ा हो गया है। सहकारिता विभाग के उप पंजीयक कार्यालय रायपुर के अधीन कार्यरत प्राधिकृत अधिकारी (OIC) सत्येंद्र देवांगन पर अब दस्तावेज़ों में हेरफेर के आरोप लग रहे हैं।
फोर्थ आई न्यूज के कैमरे पर समिति के वर्तमान प्रबंधक विकास कुमार गावंडे ने 30 अक्टूबर 2025 को स्पष्ट रूप से कहा था कि उन्हें अब तक OIC द्वारा कोई नियुक्ति पत्र नहीं दिया गया है।
— विकास कुमार गावंडे, प्रबंधक (कैपिटल होम्स समिति), 30 अक्टूबर 2025
लेकिन इसके ठीक अगले ही दिन, फोर्थ आई न्यूज को प्रबंधक विकास कुमार के द्वारा ही एक नियुक्ति पत्र प्राप्त हुआ, जिस पर प्रबंधक विकास कुमार गावंडे और OIC सत्येंद्र देवांगन दोनों के हस्ताक्षर मौजूद हैं ।


सबसे दिलचस्प बात यह है कि इस दस्तावेज़ की तारीख 5 जुलाई 2025 दर्ज है — यानी लगभग तीन महीने पुरानी।
अब कई सवाल खड़े होते हैं —
- यदि प्रबंधक को 5 जुलाई को ही नियुक्ति पत्र मिल गया था, तो 30 अक्टूबर को उन्होंने फोर्थ आई न्यूज के कैमरे पर स्पष्ट रूप से क्यों कहा कि उन्हें नियुक्ति पत्र नहीं मिला?
- क्या यह दस्तावेज़ पहले से तैयार था, या फिर फोर्थ आई पर खबर दिखाए जाने के बाद बैकडेट में तैयार किया गया ?
- यदि नियुक्ति पत्र पहले से मौजूद था, तो OIC कार्यालय ने इसे समय पर समिति रिकॉर्ड में दर्ज क्यों नहीं कराया?
इस पूरे प्रकरण ने सहकारिता विभाग के कार्यप्रणाली पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। रहवासियों के आरोप हैं कि बिगत कई साल से विभाग के अधिकारी निजी समितियों में मनमाने ढंग से निर्णय ले रहे हैं और सदस्यों के सिकिंग फंड सहित अन्य खातों में वित्तीय अनियमितता बरत रहे हैं।
इस मामले में जब ओआईसी सत्येंद्र देवांगन से बात करने की कोशिश की तो उन्होने फोन नहीं उठाया, इसके बाद उन्हें व्हाटसएप पर इसके बारे में उनका पक्ष जानना चाहा लेकिन उन्होने उसका भी कोई जवाब नहीं दिया ।
फोर्थ आई न्यूज पहले भी अपनी रिपोर्टों में यह उजागर कर चुका है कि रायपुर समेत कई आवासीय समितियों में उप पंजीयक कार्यालय के अधिकारियों द्वारा पारदर्शिता के नियमों का पालन नहीं किया जा रहा है।




