दुर्ग
छत्तीसगढ़ के दुर्ग में एक अनोखा मामला सामने आया है जहां न्यायाधीश ने दहेज के दंश पर एक आदेश दिया है. यहां न्यायालय ने दहेज लेने वाले के साथ दहेज देने वाले पर भी अपराध दर्ज करने का आदेश दिया है. दरअसल, मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट ने दहेज देने वाली दुर्ग की रुही अग्रवाल और उसके पिता विजय अग्रवाल के खिलाफ मुकदमा चलाने का आदेश दिया है.
समाज मे दहेज को एक बुराई के रूप में देखा जाता है. किसी भी लड़के या लड़की का विवाह होने पर दिया गया धन और समान दहेज कहलाता है. दहेज लेना अपराध है तो दहेज देना भी अपराध भी है. इस तरह के एक मामले में मुख्य न्यायाधीश ने नेहरु नगर निवासी निमिश एस अग्रवाल के परिवाद को प्रथम दृष्टया में सही ठहराते हुए दहेज देने की धारा के तहत पंजीबद्ध कर नोटिस जारी करने का आदेश दिया है.
आदेश में कहा गया है कि अगर उन्होंने दहेज दिया है तो यह भी अपराध की श्रेणी में आता है. अधिवक्ता एक्सपर्ट की माने तो निमिश अग्रवाल के खिलाफ उसकी पत्नी रुही अग्रवाल ने सुपेला थाना में दहेज मांगे जाने का आरोप लगाते हुए एफआईआर करवाया था. पुलिस ने निमिश और उसके परिवार के सदस्यों को मामले में आरोपी बनाया है. एफआईआर 7 मई 2016 को प्रताड़ित करने और दहेज की मांग करने और दहेज लेने की धारा के तहत दर्ज किया गया था. वर्तमान में इस प्रकरण में वह जमानत पर रिहा है.