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नईदिल्ली : आरबीआई ने जारी की नई गाइडलाइंस

नई दिल्ली : रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया ने बैंक खाते से आधार को लिंक कराना जरूरी कर दिया है. आरबीआई का यह आदेश उस समय आया है जब आधार को लिंक करने के संबंध में सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई चल रही है. हालांकि बैंकिंग रेग्युलेटरी ने साफ किया कि शीर्ष अदालत का फैसला आने के बाद ही इसे पूरी तरह लागू किया जाएगा. लेकिन जब तक सुप्रीम कोर्ट का फैसला नहीं आता तब तक इस गाइडलाइन का ही पालन करना होगा.

जून 2017 में पीएमएलए कानून में संशोधन किया

सूत्रों के अनुसार केंद्रीय बैंक ने सरकार से बातचीत के आधार पर सभी बैंक अकाउंट को आधार लिंक करना अनिवार्य किया है. आरबीआई ने यह भी कहा कि केंद्र सरकार की तरफ से जून 2017 में पीएमएलए कानून में संशोधन किया गया था. इस संशोधन के आधार पर सभी खातों के लिए च्आधारज् जरूरी किया गया था. आपको बता दें कि मार्च में ही सुप्रीम कोर्ट ने आधार को सभी बैंक अकाउंट, इनकम टैक्स रिटर्न और मोबाइल नंबर को 31 मार्च तक लिंक करने के केंद्र सरकार के फैसले को बढ़ा दिया था.

संविधान पीठ का फैसला आने तक बढ़ाया

उच्चतम न्यायालय ने विभिन्न योजनाओं को आधार से जोडऩे की 31 मार्च की अंतिम तिथि को संविधान पीठ का फैसला आने तक बढ़ा दिया था. रिजर्व बैंक ने यह भी कहा है कि उसके द्वारा नियंत्रित की जाने वाली सभी बैंकों और अन्य कंपनियों पर यह गाइडलाइन लागू होगी. हालांकि जम्मू-कश्मीर, आसाम और मेघालय में ये नियम लागू नहीं होंगे.

वेलफेयर स्कीम के लिए अंतिम तिथि 30 जून

इससे पहले सरकार ने वेलफेयर स्कीम के साथ आधार लिंक करने की अंतिम तिथि को भी बढ़ा दिया था. सरकार ने कल्याणकारी योजनाओं के साथ आधार लिंक कराने की अंतिम तिथि 3 महीने बढ़ाकर 30 जून कर दी थी. पहले पैन को भी 31 मार्च तक लिंक करना था. गौरतलब है कि आधार एक्ट के अनुसार जो व्यक्ति भारत में 180 दिन से ज्यादा समय से रह रहा है वह आधार के लिए आवेदन करने के लिए योग्य है.

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