7 राज्यों में पहले बढ़ी हजारों शिक्षकों की सैलरी
लोकसभा चुनाव से पहले केंद्र सरकार ने देशभर के राज्य सरकार व उससे संबद्ध विश्वविद्यालयों व कॉलेजों में 7वां वेतनमान (7th Pay Commission) लागू करने की सिफारिश कर दी है. अब यूनिवर्सिटी ग्रांट कमिशन (UGC) राज्य सरकार के साथ मिलकर इस पर जल्द अमल शुरू करेगा. इससे शिक्षकों की सैलरी में 7000 रुपए से लेकर 40 हजार रुपए प्रतिमाह तक की बढ़ोतरी होगी.
इन राज्यों में लागू करने की कवायद है शुरू
विश्वविद्यालय शिक्षक नेताओं ने सरकार के इस कदम का स्वागत किया है. उन्होंने कहा कि देर से ही सही सरकार ने शिक्षकों की सुध ली. हालांकि 7 राज्य ऐसे हैं जहां इसके क्रियान्वयन की कसरत शुरू हो चुकी है. इनमें उत्तर प्रदेश (UP) देश का पहला ऐसा राज्य है, जहां सबसे पहले राज्य विश्वविद्यालय के शिक्षकों को योगी सरकार ने नया वेतनमान दिया. शिक्षकों को यूपी में 7वें वेतन आयोग के तहत सैलरी मिल रही है. मध्य प्रदेश, झारखंड, बिहार, दिल्ली, पंजाब और हरियाणा में भी 7वें आयोग को लागू करने को लेकर प्रयास जारी है.
1 जनवरी 2016 से मिल रहा है 7वें वेतन आयोग का लाभ
यूपी के लखनऊ विश्वविद्यालय एसोसिएटेड कॉलेज टीचर्स एसोसिएशन (LUACTA) के अध्यक्ष मनोज पांडेय ने बताया कि प्रदेश के शिक्षकों को 1 जनवरी 2016 से 7वें वेतन आयोग का लाभ मिल रहा है. केंद्र सरकार ने अपने फैसले में कहा है कि शिक्षकों के साथ यूनिवर्सिटी और कॉलेजों के अन्य स्टाफ को भी नया वेतनमान दिया जाएगा. यूपी देश का पहला ऐसा राज्य है जहां यह 7वां वेतनमान लागू हुआ. योगी सरकार ने एरियर के साथ पूरा पे कमिशन लागू किया था. जनवरी या फरवरी 2019 में एरियर की पहली किस्त भी मिल जाएगी. सभी शिक्षकों व कर्मचारियों को 1 जनवरी 2016 से लेकर अब तक का एरियर मिलेगा.