रायपुर जेल में सचिन पायलट की चैतन्य बघेल से मुलाकात, राजनीति में गरमाई हवा

रायपुर। छत्तीसगढ़ कांग्रेस प्रभारी सचिन पायलट ने सोमवार सुबह रायपुर सेंट्रल जेल का रुख किया और शराब घोटाले मामले में ज्यूडिशियल रिमांड पर बंद चैतन्य बघेल से मुलाकात की। पायलट करीब सुबह 8 बजे रायपुर एयरपोर्ट पहुंचे, उसके बाद सीधे जेल गए। इस दौरान उनके साथ सह प्रभारी जरिता लैतफलांग, विधायक विजय जांगिड़, नेता प्रतिपक्ष चरणदास महंत और शिव डहरिया भी मौजूद थे।
हालांकि, पायलट के इस दौरे को भाजपा विधायक पुरंदर मिश्रा ने तंज के साथ देखा। मिश्रा ने कहा, “दिल्ली में पप्पू और छत्तीसगढ़ में बिट्टू, यही कांग्रेस की राजनीति बची है। ये पार्टी अब केवल परिवार के इर्द-गिर्द घूमती है।” उन्होंने कांग्रेस पर मजदूरों को आर्थिक संकट के बीच भड़काने का भी आरोप लगाया।
शराब घोटाला: चैतन्य बघेल पर ED के आरोप
इससे पहले 22 जुलाई को ED ने चैतन्य बघेल को रायपुर की स्पेशल कोर्ट में पेश किया था। कोर्ट ने 4 अगस्त तक उनकी 14 दिन की कस्टडी मंजूर की। जांच एजेंसी के वकील सौरभ पांडेय ने बताया कि शराब घोटाले के सबूत चैतन्य से जुड़े पाए गए हैं, जिसके बाद उनके घर छापेमारी भी हुई। पूछताछ में चैतन्य से संतोषजनक जवाब नहीं मिलने पर उन्हें गिरफ्तार किया गया।
सुप्रीम कोर्ट की फटकार
इसी बीच, सुप्रीम कोर्ट ने 21 जुलाई को ED पर सख्त टिप्पणी की कि राजनीतिक विवाद चुनावी मैदान में ही सुलझाएं, जांच एजेंसियों का राजनीतिकरण न करें। कोर्ट ने पूछा कि ED का इस तरह दुरुपयोग क्यों हो रहा है?
ED के आरोपों की हकीकत
ED के मुताबिक शराब कारोबारी लक्ष्मी नारायण बंसल उर्फ पप्पू ने बताया कि उन्होंने और चैतन्य बघेल ने मिलकर 1000 करोड़ से ज्यादा के घोटाले में पैसा हैंडल किया। इसमें से 100 करोड़ नकद केके श्रीवास्तव को दिए गए। पप्पू के मुताबिक 3 महीने में ही उन्हें 136 करोड़ रुपये मिले।
बचाव पक्ष का पक्ष
चैतन्य के वकील फैजल रिजवी ने इन आरोपों को खारिज किया। उन्होंने बताया कि जो 5 करोड़ रुपए का लोन है वह ब्याज सहित वापस चुका दिया गया है और इसकी पूरी जानकारी ED को पहले भी दी गई थी। वहीं, फ्लैट बिक्री से जुड़े आरोपों पर भी स्पष्ट किया कि वह मामला पहले ही कोर्ट में स्पष्ट हो चुका है।