छत्तीसगढ़

प्रदेश सरकार का लक्ष्य, दवा से ज्यादा दारू बेचना ही है : कौशिक

रायपुर। नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक ने प्रदेश के सरकारी अस्पतालों में दवा की कमी को लेकर सवाल उठाते हुए कहा कि आखिरकार प्रदेश की जनता ने कांग्रेस को विशाल जनमत यही दिन देखने के लिए दिया था कि बुनियादी सुविधा से ही प्रदेश की जनता वंचित हो जाए। प्रदेश के मुखिया भूपेश बघेल को यूपी पसंद है, तो स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव को दिल्ली की परिक्रमा पसंद है। इन दोनों के बीच प्रदेश की जनता त्राहिमाम परिस्थितियों के बीच फंसी हुई है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में कोरोना को लेकर जो परिस्थितियों पहले निर्मित हुई थी वह किसी से छिपी नहीं है और अब एक बार फिर से कोरोना के नए वैरिएंट को लेकर जो परिस्थितियां निर्मित हो रही है उसके लिए प्रदेश सरकार की क्या तैयारियां है दवाईयों की कमी से स्पष्ट दिख रहा है।

नेता प्रतिपक्ष कौशिक ने कहा कि पूरे प्रदेश में प्रदेश के सरकारी अस्पतालों में दवा सहित सर्जिकल समान उपलब्ध कराने का जिम्मा सीजीएमएससी याने छत्तीसगढ़ मेडिकल सर्विसेस काॅर्पोरेशन पर है लेकिन यह संस्था इस समय भ्रष्टाचार की केन्द्र बिन्दु बनी हुई है। जिसके कारण ही प्रदेश में दवा की संकट निर्मित हो गई है और स्वास्थ्य मंत्री अपने विभाग के संचालन में असफल है।

पूरे प्रदेश में सरकारी अस्पतालों में बीपी, सुगर सहित बच्चों के लिए आवश्यक दवाईयों का संकट है। जिसके कारण आम लोग बाजार से महंगे दर पर दवाईयां खरीदने को विवश है और अब तो हालात यह है कि दवाईयों की खरीदी का खुला खेल सीजीएमएससी के माध्यम से जारी था और दवाईयों का समय पर वितरण नहीं होने से दवाईयां एक्सपायरी हो गई है जो प्रदेश के जनता के टैक्स से खरीदी गई थी। उन्होंने कहा कि इससे दुखद क्या हो सकता है कि प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री इस बात को स्वीकार रहे है कि 6 माह पहले ही खरीदी की प्रक्रिया शुरु कर ली गई होती तो हालात बेहतर होते। इसके लिए आखिरकार कौन जिम्मेदार है? इसे लेकर प्रदेश की जनता के सामने जो संकट आई है उसे लेकर प्रदेश सरकार को तत्काल कदम उठाना चाहिए। नेता प्रतिपक्ष कौशिक ने मांग की है कि दवाई खरीदी की प्रक्रिया में विलंब क्यों हुई इसे लेकर दोषियों पर कड़ी कार्यवाही की जानी चाहिए।

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