गरियाबंद जिले में कोरोना के खिलाफ जंग में आंगनबाड़ी कार्यकर्ताएं एवं सहायिकाएं हर मोर्चे पर डटे हुई है। घर-घर जाकर पूरक पोषण आहार प्रदाय करने के साथ लोगो को कोरोना संक्रमण व नियंत्रण के प्रति जागरूक और टीकाकरण के लिए प्रेरित कर रही है। कलेक्टर निलेश कुमार क्षीरसागर के मार्गदर्शन में जिले में पूरक पोषण आहार कार्यक्रम का सफल क्रियान्वयन महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा किया जा रहा है।
विभाग द्वारा कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर में आंगनबाड़ी केन्द्रों में दी जाने वाली सेवाएं निरंतर जारी रखी गई है। इन सेवाओं में प्राथमिकता के आधार पर सभी पात्र हितग्राहियों को राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम 2013 द्वारा निर्धारित प्रोटीन एवं कैलोरी मानकयुक्त पूरक पोषण आहार (रेडी टू ईट) घर-घर पहुंचकर प्रदाय किया जा रहा है। विभाग द्वारा आंगनबाड़ी केन्द्र बंद रखे जाने की अवधि तक आंगनबाड़ी केन्द्र आने वाले 3 से 6 वर्ष के बच्चों, जिन्हे सामान्य परिस्थितियों में स्थानीय स्व सहायता समूहों के माध्यम से गर्म पका भोजन दिये जाने के स्थान पर गुणवत्तायुक्त रेडी टू ईट पोषण आहार प्रति हितग्राही प्रति दिवस निर्धारित मापदण्ड के अनुसार साप्ताहिक रूप से प्रदान किया जा रहा है।
इसी प्रकार गर्भवती माताओं को भी गर्म भोजन के स्थान पर सामान्य परिस्थितियों में प्रदाय किये जाने वाले रेडी टू ईट पोषण आहार के साथ अतिरिक्त रेडी टू ईट पोषण आहार प्रदान किया जा रहा है। महिला एवं बाल विकास विभाग के जिला कार्यक्रम अधिकारी जगरानी एक्का ने बताया कि आंगनबाड़ी कार्यकर्ता एवं सहायिका द्वारा बच्चों और गर्भवती धात्री महिलाओं को 15 दिवस के अंतराल में माह के प्रथम व तृतीय मंगलवार को पूरक पोषण आहार घर-घर जाकर प्रदाय किया जा रहा है।
उनके द्वारा 6 माह से 6 वर्ष के दर्ज सभी 58571 सामान्य व मध्यम कुपोषित बच्चों को प्रति सप्ताह 6 दिन के मान से 750 ग्राम व दर्ज सभी 934 गंभीर कुपोषित बच्चों को 1200 ग्राम का रेडी टू ईट का पैकेट, 5190 गर्भवती व 5622 शिशुवती माताओं को प्रति सप्ताह 6 दिन के मान से 900 ग्राम का( रेडी टू ईट) का पैकेट प्रदाय किया जा रहा है