किसान ने अलसी से बना दिए कपड़े

रायपुर
कौन कहता है हमारे किसान कमजोर हैं। उनके हुनर को मंच तो दे जनाब, बुलंदियों की सीढ़ी अपने आप चढ़ जाएंगे। देश में किसान को आर्थिक रूप से कमजोर माना जाता है, लेकिन अगर किसान खेती में नवाचार का प्रयोग करें तो वह अपनी स्थिति को किस तरह बदल सकते हैं।
इसका एक शानदार उदाहरण छत्तीसगढ़ के जांजगीर-चांपा के एक किसान ने पेश किया है। बात हो रही है इंदिरा गांधी कृषि विश्विद्यालय में चल रही इंडियन हॉर्टीकल्चर कॉन्फ्रेंस की। मौके में प्रदेश के कई हुनरमंद किसान पहुंचे हैं। उनमें खास है जांजगीर चांपा के रामाधार देवांगन।
इन्होंने अलसी से 15 चीजें बनाई है, जो हमारे रोजाना काम की है। स्वास्थ्य को ध्यान में रखकर रामाधार ने अलसी के छोटे-छोटे टुकड़ों को चॉकलेट में मिलाकर बेहतरीन स्वाद की चॉकलेट बनाई है। साथ ही इसके तीन फ्लेवर भी तैयार किए हैं।
ऐसे तैयार करते हैं अलसी से धागा
रामाधार ने बताया कि अलसी का झाड़ जब सूख जाता है तो उसके फलों को अलग कर उसे पानी में भिगो दिया जाता है। उसके बाद उसे गन्ना मशीन में पेरकर कर बारीकी से अलग कर लिया जाता है उससे निकलने वाला कचरा को अलग अलग कर सूत की जाती, उससे धीरे धीरे कुछ ही दिनों में कोट और पैंट शर्ट का कपड़ा तैयार हो जाता है।
अलसी के पौधे से बनाईं ये चीजें
नान खटाई, नमकीन बिस्किट, बालम इश्क बिस्किट, एनर्जी बार सूखी चटनी ,चॉकलेट क्रीम, चॉकलेट, कॉफी चॉकलेट, कप केक कोरियन सिल्क, धागा, तेल अलसी का बीज, राखी, टोपी और चादर।
खुशी की बात है की हमारे प्रदेश में अलसी से 15 चीजों का निर्माण हो रहा है जल्दी से औद्योगिक रूप देने की कोशिश की जाएगी।