महिपाल मदरेणा का निधन, जानिये राजस्थान के सबसे बड़े भंवरी देवी कांड के बारे में, जिसे महिपाल मदरेणा ने क्यों दिया था अंजाम ?
कैंसर की वजह से हुई है, महिपाल मदरेणा की मौत
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राजस्थान : नर्स से लोकगायिका बनी महिला, जिसकी ख्वाहिशें उसकी हैसीयत से भी बड़ी थीं । ख्वाहिशें पूरी करने के लिए उसने पहले रसूखदारों को अपने चंगुल में फंसाया, फिर उनकी अश्लील सीडी बनाई और ब्लैकमेल करने लगी । लेकिन वो ये नहीं जानती थी कि वो आग से खेल रही है । और सीडी से निगली आग में वो खुद जलकर राख हो गई । और सिर्फ वही राख नहीं हुई, उन रसूखदारों के काले कारनामे भी पूरे देश और दुनिया के सामने आ गए ।
दरअसल राजस्थान के स्वास्थ्य विभाग में नर्स भंवरी देवी की कहानी किसी थ्रिलर फिल्म से कम नहीं है । एक नर्स जो अचानक लोकगायिका बन गई । और पूरे प्रदेश में उसके चर्चे होने लगे । उसके वीडियो एलबम निकलने लगे । साथ ही राजनीतिक रसूखदारों के बीच भी उसका मेल मिलाप हो गया । मेल मिलाप हुआ तो रिश्ते अपनी हदें पार कर गए और जो नहीं होना चाहिए था वो भी हो गया ।
भंवरी देवी नाम की ये लोकगायिका, अचानक एक सितंबर २०११ को गायब हो गई । जब पुलिस ने उसे ढूंढना शुरू किया तो पता चला कि उसकी हत्या हो चुकी है । इस मामले में राजस्थान के तत्कालीन जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी मंत्री महिपाल मदेरणा, और तत्कालीन कांग्रेस विधायक मलखान सिंह विश्नोई पर उसकी हत्या का आरोप लगा ।
अब हर कोई ये जानना चाहता था कि आखिर ऐसी क्या वजह थी, जिसकी वजह से एक मंत्री और विधायक ने एक लोक गायिका की हत्या करवा दी । लेकिन जैसे-जैसे वक्त बीतता गया, इस पूरी कहानी पर से परत दर परत पर्दा उठता चला गया ।
दरअसल मारवाड़ में मदेरणा परिवार और विश्नो्ई परिवार का काफी प्रभाव रहा है। दोनों राजनीतिक घराने से हैं। मदेरणा के पिता परसराम राजस्थान विधानसभा के स्पीकर रह चुके थे तो मलखान के पिता राम सिंह विश्नोई राज्य सरकार में मंत्री थे ।
२००२ में शुरू हुई थी कहानी
मलखान और भंवरी के रिश्ते की शुरुआत साल २००२ में हुई । जब भंवरी अपने तबादले के सिलसिले में मलखान से मिली थी । दोनों के बीच नजदीकी बढ़ी और मामला हम बिस्तर होने तक जा पहुंचा । इससे भंवरी को एक बेटी हुई। मलखान ने ही भंवरी को महिपाल मदेरणा से भी मिलवाया था। यहां भी मेल मुलाकात नजदीकी में बदल गई थी । और भंवरी के महिपाल मदरेणा के साथ भी जिस्मानी रिश्ते बन गए ।
बेटी के लिए हक मांगा तो बिगड़ी बात
मलखान और भंवरी के रिश्तों में तल्खी तब आई जब भंवरी ने अपनी बेटी के लिए हक मांगना शुरू कर दिया । उसकी इस डिमांड के बाद शादीशुदा मलखान मदरेणा भंवरी से कन्नी काटने लगा । भंवरी ने इसके बाद उसके खिलाफ पुलिस में शिकायत भी दर्ज करा दी । इन सब झमेलों से परेशान मलखान ने अपने भाई और बहन इंद्रा को भंवरी को शांत कराने का काम सौंप दिया था । इसके बाद कुछ दिनों तक मामला शांत रहा ।
मलखान की बहन इंद्रा ने दी सीडी बनाने की सलाह
मलखान की बहन इंद्रा विश्नोई भंवरी की काफी करीबी दोस्त थी । वहीं भंवरी के जिस्मानी रिश्ते तत्कालीन मंत्री महिपाल मदरेणा के साथ भी थे । लिहाजा मलखान की बहन इंद्रा ने भंवरी के गुस्से को महिपाल मदेरणा की तरफ मोड़ दिया । साथ ही सुझाव दिया कि से मदेरणा के साथ अंतरंग पलों का वो वीडियो रिकॉर्ड कर ले । इसके बाद भंवरी ने वही किया । मदरेणा के साथ उसने अपने अंतरंग पलों को कैद किया । और इसकी एवज में १० लाख रुपए का सौदा किया ।
इसके बाद भंवरीदेवी ने मंत्री महिपाल मदेरणा और विधायक मलखान विश्नोई के साथ अपने अंतरंग पलों की सीडी होने का दावा किया । चूंकि उस वक्त सत्ता में गहलोत सरकार थी । लिहाजा मामले ने तूल पकड़ लिया । लेकिन भंवरी देवी वीडियो सामने लाती इससे पहले ही वो अचानक गायब हो गई । बाद में उसकी हत्या की जानकारी मिली ।
इस मामले में जोधपुर में सीबीआई की विशेष अदालत में जांच एजेंसी ने महिपाल मदेरणा और मलखान समेत १७ लोगों के खिलाफ चार्जशीट दायर की थी। करीब सौ पेज का आरोप पत्र तैयार करने में सीबीआई ने ३०० से ज्यादा गवाहों के बयान लिए थे। इसके मुताबिक पूरे मामले की शुरुआत २००२ में तब हुई थी ।
कैसे सामने आया मामला:
इस मामले ने तूल तब पकड़ा जब भंवरी के पति अमरचंद ने २० सितंबर को पुलिस में अपनी पत्नी की गुमशुदगी की रिपोर्ट लिखाई। रिपोर्ट में उसने लिखवाया कि उसकी बीवी २० दिनों से लापता है। रिपोर्ट में उसने महिपाल मदेरणा को नामजद किया था। भंवरी कांड ने तब और ज्यादा सुर्खियां बटोरीं जब उसके गायब होने के कुछ दिनों बाद एक सीडी सामने आई। इसमें मदेरणा और भंवरी देवी के अंतरंग पल कैद थे। आरोप लगे कि इन तस्वीरों के जरिए भंवरी राजस्थान के मंत्री मदेरणा को ब्लैकमेल कर रही थी।
अपहरण और हत्या:
भंवरी से सीडी हथियाने के लिए विश्नाराम गैंग की मदद से भंवरी को किडनैप करवाया गया। उससे असली सीडी निकलवाने के लिए टॉर्चर किया गया। पुलिस की रिपोर्ट में बताया गया था कि जब भंवरी को किडनैपर्स दूसरे स्थान पर ले जा रहे थे तो उसने शोर मचाना शुरू कर दिया था। इससे झल्लाए गैंग के लोगों ने गला दबाकर उसकी हत्या कर दी थी और लाश को ठिकाने लगाने के लिए जला दिया था। इसके बाद राख को अलग-अलग इलाकों में सड़क पर बिखेर दिया गया था, जिससे किसी को कोई सबूत न मिले।