बीजिंग : जिनपिंग के खिलाफ उठी आवाज
बीजिंग : चीन में एक जाने माने राजनीतिक टिप्पणीकार और एक प्रसिद्ध महिला कारोबारी ने उस प्रस्ताव के खिलाफ आवाज उठाई है जिसके अमल में आने पर राष्ट्रपति शी जिनपिंग को अनिश्चतकाल तक सत्ता पर काबिज रहने की अनुमति मिल जाएगी. देश में इस तरह के विरोध की आवाज कभी-कभार ही उठ पाती है.
टिप्पणीकार ने सांसदों को खुला पत्र लिखकर आग्रह किया है कि वे जिनपिंग को अनिश्चितकाल तक सत्ता में बने रहने की अनुमति देने वाले प्रस्ताव को खारिज करें. चीन की सत्तारूढ़ कम्युनिस्ट पार्टी ने राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति के कार्यकाल की समयसीमा खत्म करने के लिए रविवार को एक प्रस्ताव की घोषणा की थी. इस प्रस्ताव के विरोध में लोकप्रिय मैसेजिंग एप वीचैट पर बयान प्रसारित हो रहे हैं.सरकार संचालित ‘चाइना यूथ डेली’ के पूर्व संपादक ली दातोंग ने वीचैट पर एक बयान में चीन की रबड़ स्टाम्प संसद के सदस्यों को लिखा कि कार्यकाल की सीमा खत्म करना ‘‘अराजकता के बीज बोने’’ जैसा होगा. ली ने कहा, ‘‘यदि देश के शीर्ष नेता के कार्यकाल की कोई समयसीमा नहीं होगी तो हम एक राजशाही शासन की ओर लौटेंगे.’’
सरकार में सुधारों की वकालत कर चुकी महिला कारोबारी वांग यिंग ने कहा, ‘‘मेरी पीढ़ी ने माओ को देखा है. वह युग खत्म हो गया है. हम इस पर संभावित रूप से वापस कैसे जा सकते हैं?’’ उन्होंने वीचैट पर लिखा कि कम्युनिस्ट पार्टी का प्रस्ताव ‘पूरी तरह धोखा’ और ‘धारा के विपरीत’ है.
कांग्रेस अगले महीने अपने वार्षिक सत्र के दौरान संवैधानिक संशोधन को लगभग पारित कर देगी. इस दौरान वह शी को पांच साल का एक और कार्यकाल देगी तथा नए मंत्रियों और अधिकारियों की नियुक्ति करेगी. चीन के संविधान के तहत कोई भी राष्ट्रपति पांच-पांच साल के कार्यकाल के लिए केवल दो बार ही इस पद पर रह सकता है, लेकिन माओ के बाद देश के सर्वाधिक शक्तिशाली नेता माने जाने वाले शी भ्रष्टाचार से लडऩे, गरीबी हटाने, चीन को एक अग्रणी आधुनिक देश बनाने के अपने एजेंडे के नाम पर अतिरिक्त कार्यकाल चाहते हैं.