रायपुर : मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने कहा है कि राज्य के सुकमा जिले में किस्टारम के पास हुए नक्सल हमले में केन्द्रीय रिजर्व पुलिस बल (सी.आर.पी.एफ.) के बहादुर जवानों की शहादत के प्रति छत्तीसगढ़ सहित पूरा देश नतमस्तक है। आदिवासी बहुल जिले के विकास कार्यों के लिए सुरक्षा ड्यूटी करते हुए इन वीर जवानों ने अपनी शहादत दी है। मुख्यमंत्री ने आज सवेरे राजधानी रायपुर के माना स्थित छत्तीसगढ़ सशस्त्र पुलिस बल की चौथी बटालियन के परिसर में यह बात कही। उन्होंने इस मौके पर सुकमा जिले में कल हुए नक्सल हमले की घटना में सी.आर.पी.एफ. के नौ शहीद जवानों को पुष्पचक्र अर्पित कर विनम्र श्रद्धांजलि दी।
मुख्यमंत्री ने कहा – जवानों के इस बलिदान को न सिर्फ छत्तीसगढ़ बल्कि पूरा देश हमेशा याद रखेगा। सुरक्षा बलों के हमारे जवान छत्तीसगढ़ को नक्सल समस्या से मुक्त करने के लिए एक कठिन लड़ाई लड़ रहे हैं। उनका मनोबल बहुत ऊंचा हैं। हम सबने मिलकर छत्तीसगढ़ से नक्सल समस्या को समूल नष्ट करने की प्रतिज्ञा ली है। नक्सल हिंसा का सुनिश्चित है। आगे अगर इस प्रकार की घटनाएं होती है तो उसका भी कठोरता से जवाब दिया जाएगा। इस मौके पर केन्द्रीय गृह राज्य मंत्री हंसराज अहीर ने भी शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित की। अहीर ने कहा कि नक्सलियों का मुकाबला करने के लिए केन्द्र और राज्य के सुरक्षा बल परस्पर काफी बेहतर समन्वय से और पूरी सजगता से काम कर रहे हैं। केन्द्र सरकार भी इस दिशा में लगातार सजग है।
मुख्यमंत्री ने शहीदों के परिवारों के प्रति संवेदना प्रकट करते हुए कहा – निश्चित रूप से इन शहीदों के परिवारों के प्रति हम सबकी गहरी संवेदना जुड़ी हुई है। इस घटना से प्रभावित परिवारों के दर्द को हम सब महसूस करते हैं। इनमें से प्रत्येक परिवार का न सिर्फ एक नवजवान चला गया है, उस घर को चलाने वाला चला गया है, बल्कि हमारे भारत का एक लाल चला गया है। डॉ. रमन सिंह ने कहा – नक्सल प्रभावित बस्तर संभाग के जिलों में और विशेष रूप से वहां के सुकमा जैसे जिले में सुरक्षा बलों के हमारे जवान सबसे कठिन लड़ाई लड़ रहे हैं। जवानों की शहादत का उल्लेख करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा – जैसे देश की सरहद पर लोग शहीद होते हैं, जैसे सियाचिन से लेकर पाकिस्तान की सीमा तक हमारे जवान देश की रक्षा के लिए अपने राष्ट्रीय कत्र्तव्यों का पालन करते हुए कई बार शहीद हो जाते हैं, वैसे ही नक्सल हिंसा के खिलाफ यह लड़ाई किसी भी दृष्टि से कम नहीं हैं। उन्होंने कहा-हमारे जवान रोज गश्त में निकलते हैं। नक्सलियों के खिलाफ मोर्चे पर वे पूरी बहादुरी के साथ आगे बढ़ रहे हैं।
सुकमा की घटना का जिक्र करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा – ऐसी घटनाओं से सरकार और सुरक्षा बलों के जवानों का मनोबल जरा भी कम नहीं होगा, बल्कि नई प्रतिज्ञा और नये विश्वास के साथ हम सब मिलकर नक्सलवाद के खिलाफ लड़ाई में लगातार आगे बढ़ेंगे। डॉ. रमन सिंह ने कहा – नक्सली सभी मोर्चों पर असफल हो रहे हैं। सुकमा जिले में सडक़ों का जाल बिछाने का काम हो रहा है। आज मैं कह सकता हंू कि सुकमा से होकर जितने भी महत्वपूर्ण राष्ट्रीय राजमार्ग बन रहे हैं, करीब-करीब अगले चार महीने में पूर्ण हो जाएंगे। कोंटा तक और भोपालपटनम तक सडक़ों का निर्माण हो जाएगा। इंजरम तक सडक़ बन चुकी है।
डॉ. रमन सिंह ने कहा – उस इलाके में सडक़ों के निर्माण के चुनौती पूर्ण और बहुत मुश्किल काम सुरक्षा बलों के जवानों की मदद से हो रहा है और यही नक्सलियों की बौखलाहट है। मैं नियमित रूप से उन क्षेत्रों की यात्रा करता हूं। जवानों का हौसला कहीं भी कमजोर नहीं है। ऐसी घटनाओं से हमारा विश्वास और मजबूत होता है। निश्चित रूप से नक्सल हिंसा का अंत होने का समय आ गया है। आगे अगर इस प्रकार की घटनाएं होती है तो उसका भी कठोरता से जवाब दिया जाएगा। मुख्यमंत्री ने कहा – प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और केन्द्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने भी सुकमा के शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित कर उनके परिवारों के प्रति संवेदना प्रकट की है। केन्द्रीय गृहमंत्री कल से ही लगातार सम्पर्क में है। केन्द्रीय गृह राज्य मंत्री अहीर कल रात में ही रायपुर पहुंचे हैं। उन्होंने भी पूरे घटना क्रम की जानकारी ली है।
अहीर ने शहीदों के परिवारों के प्रति संवेदना प्रकट की। इस मौके पर छत्तीसगढ़ सरकार के गृह मंत्री रामसेवक पैकरा, आदिम जाति विकास मंत्री केदार कश्यप, महिला एवं बाल विकास मंत्री मती रमशीला साहू, वन मंत्री महेश गागड़ा, विधायक मोहन मरकाम, प्रदेश सरकार के मुख्य सचिव अजय सिंह, गृह विभाग के अपर मुख्य सचिव बी.व्ही.आर. सुब्रमणियम, पुलिस महानिदेशक ए.एन. उपाध्याय, विशेष पुलिस महानिदेशक (नक्सल ऑपरेशन) डी.एम.अवस्थी, अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक अशोक जुनेजा और शासन-प्रशासन के अनेक वरिष्ठ अधिकारी भी मौजूद थे।