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ड्यूटी से लेकर ब्यूटी तक चर्चा में रहतीं हैं यह IPS,अब इस मामले में खूब हो रही खरी खोटी

नमस्कार दोस्तों, फोर्थ आई न्यूज़ में आप सभी का बहुत-बहुत स्वागत है

नमस्कार दोस्तों, फोर्थ आई न्यूज़ में आप सभी का बहुत-बहुत स्वागत है। दोस्तों आज हम आपको एक ऐसी आईपीएस के बारे में बताने जा रहे हैं जो अब नेशनल मीडिया तक में खूब सुर्खियां बटोर रहीं हैं। यह अपनी ड्यूटी से लेकर ब्यूटी तक के लिए काफी चर्चा में रहीं हैं मगर अब इनका एक ऐसा कारनामा सामने आया है जिसके लिए देशभर के प्रशासनिक अमले में इनकी खूब निंदा हो रही है। यह आईपीएस हैं कृष्णा वेणी देशावतु। यह अभी भोपाल में एसएएफ में डीआईजी हैं। सरकारी बंगले में रहती हैं। पति आईएएस अधिकारी हैं। वो भी साथ ही रहते हैं। उनका नाम श्रीकांत बनोट है। अभी वह माध्यमिक शिक्षा मंडल में सचिव के पद पर तैनात हैं। श्रीकांत बनोट भी कई जिलों में कलेक्टर रहे हैं। अभी भोपाल में अपनी पत्नी के साथ रहते हैं। श्रीकांत बनोट 2009 बैच के आईएएस अधिकारी हैं। जिलों में कलेक्टर रहने के दौरान इनकी भी चर्चा हुई है।

IPS कृष्णा वेणी देशावतु 2007 बैच की अधिकारी हैं। सोशल मीडिया पर एसपी रहते हुए वह काम काज को लेकर काफी मशहूर थीं। कोविड के समय में वह देवास की एसपी थीं। इस दौरान वह साइकल से पेट्रोलिंग पर निकलती थीं। आईपीएस कृष्णा वेणी देशावतु का ड्रेस सेंस भी कमाल का होता है। पोस्टिंग के दौरान उन्होंने हर जगह पर अलग छाप छोड़ी है। कृष्णा वेणी देशावतु अपनी फिटनेस का भी पूरा ख्याल रखती हैं।

अब IPS कृष्णा वेणी देशावतु पर एक बड़ा खुलासा हुआ है। आरोप है कि इन्होनें नियम से अधिक कॉन्स्टेबल की ड्यूटी अपने आवास पर लगा रखी है। इस कपल के सरकारी बंगले पर 56 कॉन्स्टेबल की ड्यूटी है। ये सभी लोग शिफ्ट के हिसाब से ड्यूटी करते हैं। इनकी तैनाती शूज पॉलिस से लेकर कपड़े धोने तक की है। कुछ कॉन्स्टेबल ही इनके घर पर पोंछा लगाते हैं। इन आरोपों पर डीआईजी कृष्णा वेणी देशावतु ने कहा कि नियम से अधिक एक भी ट्रेड कॉन्स्टेबल तैनात नहीं है। वहीं, नियम के हिसाब से दो फोर्थ ग्रेड कर्मचारी इनके आवास पर रखे जा सकते हैं। भोपाल में 74 बंगला स्थित डी-10 इनका घर है। घर पर कुछ कर्मचारी इनके पति के कोटे से भी हैं।

मीडिया में खबर आने के बाद सोशल मीडिया पर लगातार लोग इन्हें ट्रोल कर रहे हैं। इन घर पर तैनात जो कॉन्स्टेबल हैं, वे सभी सरकारी कर्मी हैं। औसतन अगर इनकी सैलरी 40-50 हजार है तो हर महीने लाखों रुपये खर्च होते हैं। एक तरफ वैसे भी पुलिस बल की कमी से पुलिस महकमा जूझते रहता है उसपर अगर किसी प्रशासनिक अधिकारी के घर पर ही अकेले पूरे 56 कॉन्स्टेबल्स का बल लगा दिया जाए और उन्हें नौकरों की तरह काम कराया जाए तो यह समझ से परे है। इसके अलावा इनकी सैलरी पर भी हर महीने लाखों रुपए पानी की तरह बहाए जा रहे हैं वो भी अपने ऐशों-आराम के लिए,बहरहाल अब तो इस आईपीएस और इनके पति के खिलाफ कार्रवाई की मांग की जा रही है, मगर इसे आप कितना सही मानते हैं।

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